इजरायल और ईरान के बीच चल रहे संघर्ष में सीजफायर के ऐलान के बाद तेहरान स्थित भारतीय दूतावास ने सोशल मीडिया हैंडल एक्स पर यह घोषणा की है कि ईरान से भारतीय लोगों को बाहर निकालने के लिए चलाए जा रहे ‘ऑपरेशन सिंधु’ को धीरे-धीरे बंद कर दिया जाएगा। दूतावास में हेल्प डेस्क भी बंद कर दिया है।
बता दें कि ऑपरेशन सिंधु के जरिए इजरायल और ईरान में फँसे भारतीय नागरिकों को देश वापस लाने के लिए लगातार जतन किए जा रहे हैं। मंगलवार (24 जून 2025) को दोनों देशों के बीच युद्ध विराम के ऐलान के बाद दूतावास ने भी नए लोगों के निकासी के लिए जारी की गई हेल्प डेस्क को बंद कर दिया है।
सोशल मीडिया एक्स पर दूतावास ने लिखा है कि भारत सरकार इस पूरे मसले पर अपनी नजर बनाए हुए है। अगर भारतीय नागरिकों के लिए फिर से कोई खतरा नजर आता है तो नई रणनीति तय की जाएगी।
Announcement from Embassy of India, Tehran: Since there has been an announcement of ceasefire, the Embassy is gradually winding up the evacuation exercise initiated during the military conflict in Iran.
— India in Iran (@India_in_Iran) June 24, 2025
दूतावास ने ये भी लिखा कि ईरान में रह रहे भारतीय किसी भी तरह की सहायता के लिए दूतावास की ओर से जारी किए गए टेलीग्राम चैनल या हेल्पलाइन नंबर पर संपर्क कर सकते हैं।
कतर ने बंद किया था एयरस्पेस
इजरायल और ईरान के संघर्ष के बीच अमेरिका ने भी ईरान के परमाणु सुविधाओं पर हमले किए थे। इसके बाद ईरान ने भी जवाबी कार्रवाई की थी। इसके तहत सीरिया, इराक और कतर में स्थित अमेरिकी सैन्य ठिकानों पर ईरान ने मिसाइलों से हमला किया था।
इसके कारण कतर ने अपना एयरस्पेस कुछ घंटों के लिए बंद कर दिया था। भारत सरकार लगातार इस पूरे मामले पर अपनी नजर बनाए हुई थी। इस बारे में विदेश मंत्रालय ने भी मंगलवार को ही अपना बयान जारी किया।
मंत्रालय ने कहा कि इस पूरे क्षेत्र की सुरक्षा और स्थिरता को लेकर हम गंभीर चिंता व्यक्त करते हैं। कतर द्वारा एयरस्पेस दोबारा खोले जाने के बाद विदेश मंत्रालय ने कहा कि इजरायल और ईरान के बीच संघर्ष विराम की खबरें और कतर की ओर से निभाई गई भूमिका का हम स्वागत करते हैं।
विदेश मंत्रालय ने कहा कि भारत इस दिशा में हर संभव सहयोग देने को तैयार है और हम उम्मीद करते हैं कि सभी पक्ष मिलकर शांति और स्थिरता की दिशा में काम करेंगे।
भारत की ओर से इजरायल और ईरान में फँसे भारतीयों को वापस लाने के लिए ऑपरेशन सिंधु शुरू किया गया था। इसके तहत बुधवार (25 जून 2025) की रात 12:01 बजे ईरान के मशहद से 282 भारतीयों को फ्लाइट के जरिए दिल्ली लाया गया। मंगलवार को भारत में 1100 से भी अधिक नागरिकों को देश वापस लाया गया है।
ऑपरेशन सिंधु के तहत ईरान और इजरायल से निकल गए और भारतीय नागरिकों की कुल संख्या 3170 हो गई है। ईरान से 2858 लोग अब तक रेस्क्यू किया जा चुके हैं।
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, मिडल ईस्ट के 6 खाड़ी देशों में 90 लाख से भी अधिक भारतीय रहते हैं। इनमें यूएई में 35.5 लाख, सऊदी अरब में 26 लाख, कुवैत में 11 लाख, ओमान में 7.79 लाख, कतर में 7.45 लाख और बहरीन में 3.3 लाख लोग शामिल हैं।
पहले भी भारतीयों के लिए चले कई ऑपेशन
आपदा के साथ किसी भी अन्य स्थिति में भी भारत ने अब तक कई ऑपरेशन चला कर विदेशों में रह रहे भारतीयों को देश वापस लाने में सफलता हासिल की है। इसके तहत 2020 में कोविड में सहायता देने के लिए मालदीव के लिए ‘ऑपरेशन संजीवनी’ चलाया गया।
2021 में भारत के अफगानिस्तान में सिखों और हिंदुओं को रेस्क्यू करने के लिए ‘ऑपरेशन देवी शक्ति’ और तालिबान के कब्जे के बाद ‘ऑपरेशन अजायी’ चलाया गया। 2022 में रूस यूक्रेन के युद्ध के दौरान भारतीय छात्रों और नागरिकों को रेस्क्यू के लिए ‘ऑपरेशन गंगा’ के साथ 2023 में सूडान में हुए सिविल वॉर में भारतीय नागरिकों के रेस्क्यू के लिए ‘ऑपरेशन कावेरी’ चलाया गया।
इसी तरह 2023 में तुर्किए में आए भूकंप में सहायता देने के लिए ‘ऑपरेशन मित्र शक्ति’ और अप्रैल 2025 में म्यांमार में आए भूकंप के बाद मदद के लिए ‘ऑपरेशन ब्रह्मा’ समेत कई अन्य मिशन भी इस कड़ी में अपना कीर्तिमान स्थापित कर चुके हैं।