दिल्ली में बंगालियों के बेदखली का आरोप झूठा

केंद्र सरकार ने पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के उन दावों को पूरी तरह खारिज कर दिया, जिसमें उन्होंने कहा था कि दिल्ली के वसंत कुंज इलाके में बीजेपी सरकार बंगाली भाषी लोगों को जबरदस्ती उनके घरों से निकाल रही है। संसद में साफ कर दिया गया कि सरकार की तरफ से ऐसी कोई बेदखली का आदेश कभी जारी ही नहीं हुआ।

कुछ दिन पहले ममता बनर्जी ने बीजेपी पर गंभीर आरोप लगाए थे। उनका कहना था कि बीजेपी शासित दिल्ली के वसंत कुंज में जय हिंद कॉलोनी में रहने वाले बंगाली भाषी लोगों को परेशान किया जा रहा है और उन्हें वहाँ से हटाया जा रहा है। लेकिन अब इस मामले में सच्चाई सामने आई है।

गृह मंत्रालय में राज्य मंत्री नित्यानंद राय ने तृणमूल कॉन्ग्रेस (टीएमसी) की सांसद जून मालिया के एक लिखित सवाल के जवाब में स्पष्ट किया कि दिल्ली सरकार ने जय हिंद कॉलोनी में कोई बेदखली अभियान नहीं चलाया।

जून मालिया ने संसद में पाँच सवाल उठाए थे, जो इस कथित बेदखली से जुड़े थे। उनके सवाल कुछ इस तरह थे:

  1. क्या सरकार को जय हिंद कॉलोनी और वसंत कुंज, नई दिल्ली में बिजली और पानी की आपूर्ति काटने की कोई शिकायत मिली है?
  2. अगर हाँ, तो ये कार्रवाइयाँ किन कानूनी नियमों या सरकारी आदेशों के तहत की जा रही हैं?
  3. इस बेदखली अभियान से कितने परिवार प्रभावित हुए हैं?
  4. क्या सरकार ने बेदखल किए गए लोगों की भारतीय नागरिकता या उनके कानूनी निवास की स्थिति की जाँच की है?
  5. क्या प्रभावित परिवारों के लिए कोई मुआवजा या पुनर्वास की योजना शुरू की गई है? अगर हाँ, तो उसका पूरा ब्योरा क्या है?

इसके जवाब में 5 अगस्त को नित्यानंद राय ने संसद में लिखित जवाब दिया। उन्होंने कहा कि दिल्ली सरकार ने जय हिंद कॉलोनी, वसंत कुंज में न तो कोई बेदखली अभियान चलाया और न ही बिजली या पानी की आपूर्ति काटने की कोई लिखित शिकायत मिली। हाँ, 10 जुलाई 2025 को सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर इस बारे में एक पोस्ट जरूर सामने आई थी, लेकिन इसके अलावा कोई औपचारिक शिकायत नहीं मिली।

राय ने आगे बताया कि जय हिंद कॉलोनी एक झुग्गी-झोपड़ी (जे.जे. क्लस्टर) वाला इलाका है। वहाँ पानी की पाइपलाइन बिछी हुई नहीं है, इसलिए वहाँ के लोगों को रोजाना टैंकरों से पानी पहुँचाया जाता है। यह काम नियमित रूप से चल रहा है और इसमें कोई रुकावट नहीं आई। साथ ही 8 जुलाई 2025 को दो बिजली कनेक्शन जरूर काटे गए थे, लेकिन यह कार्रवाई एक सिविल कोर्ट के फैसले (14 मई 2024, सिविल सूट नंबर 56914/2016) के पालन में की गई थी।

इससे पहले, 31 जुलाई 2025 को जून मालिया ने लोकसभा में यही सवाल उठाया था। उन्होंने पूछा था कि क्या सरकार को जय हिंद कॉलोनी में चल रहे बेदखली अभियान और बिजली-पानी की आपूर्ति काटने की शिकायतों की जानकारी है।

साथ ही उन्होंने यह भी पूछा था कि ये कार्रवाइयाँ किन कानूनी नियमों के तहत हो रही हैं, कितने परिवार प्रभावित हुए हैं, क्या बेदखल लोगों की नागरिकता या कानूनी निवास की जाँच हुई है, और क्या प्रभावित परिवारों के लिए कोई मुआवजा या पुनर्वास योजना बनाई गई है।

इसका जवाब देते हुए आवास और शहरी मामलों के मंत्रालय में राज्य मंत्री तोखराम साहू ने साफ कहा कि दिल्ली विकास प्राधिकरण (डीडीए) ने जय हिंद कॉलोनी में कोई बेदखली अभियान नहीं चलाया और न ही बिजली-पानी काटने की कोई शिकायत मिली। उन्होंने कहा कि जब कोई बेदखली हुई ही नहीं, तो न तो कानूनी कार्रवाई का सवाल उठता है, न प्रभावित परिवारों की संख्या का और न ही मुआवजे या पुनर्वास योजना का।

उन्होंने यह भी बताया कि दिल्ली जल बोर्ड को पानी की आपूर्ति काटने की कोई लिखित शिकायत नहीं मिली, सिवाय 10 जुलाई 2025 को X पर एक पोस्ट के। इसके अलावा, दिल्ली सरकार के बिजली विभाग ने बताया कि 8 जुलाई 2025 को दो बिजली कनेक्शन काटे गए, लेकिन यह कोर्ट के आदेश (14 मई 2024) के मुताबिक किया गया।

जुलाई में ममता बनर्जी ने बीजेपी पर जमकर हमला बोला था। उन्होंने आरोप लगाया था कि बीजेपी अवैध बांग्लादेशी और रोहिंग्या प्रवासियों के खिलाफ कार्रवाई के बहाने बंगाली भाषी भारतीय नागरिकों को निशाना बना रही है। उन्होंने X पर लिखा था, “पानी की सप्लाई काट दी गई, बिजली के मीटर जब्त कर लिए गए, और परसों अचानक बिजली काट दी गई।”

ममता ने जय हिंद कॉलोनी से बंगालियों की कथित बेदखली को बीजेपी की ‘बंगला-विरोधी’ नीति करार दिया। उन्होंने कहा, “बीजेपी शासित राज्यों में बंगालियों को घुसपैठिया माना जा रहा है। बंगाली बोलने से कोई बांग्लादेशी नहीं हो जाता।”

ममता बनर्जी का ट्वीट

13 अगस्त को बीजेपी नेता अमित मालवीय ने ममता बनर्जी पर पलटवार करते हुए उनके दावों को झूठा बताया। उन्होंने कहा कि टीएमसी सांसद जून मालिया ने अपने सवालों से ही ममता के झूठ को उजागर कर दिया। मालवीय ने कहा कि जय हिंद कॉलोनी में कोई बेदखली अभियान नहीं हुआ। पानी की आपूर्ति काटने की कोई शिकायत दिल्ली जल बोर्ड को नहीं मिली, सिवाय एक सोशल मीडिया पोस्ट के। सिर्फ दो बिजली कनेक्शन काटे गए, और वह भी सिविल कोर्ट के आदेश (14 मई 2024) के तहत।

अमित मालवीय ने कहा, “टीएमसी सांसद ने ममता बनर्जी के झूठ का पर्दाफाश कर दिया। जून मालिया ने लोकसभा में जय हिंद कॉलोनी में बेदखली के बारे में सवाल पूछा था। सरकारी जवाब से सच्चाई साफ हो गई: कोई बेदखली नहीं हुई। पानी काटने की एक भी शिकायत दिल्ली जल बोर्ड को नहीं मिली, सिवाय 10 जुलाई 2025 को एक सोशल मीडिया पोस्ट के। सिर्फ दो बिजली कनेक्शन काटे गए, और वह भी कोर्ट के आदेश पर। टीएमसी का झूठा प्रचार उनके ही सवाल से संसद में बेनकाब हो गया। ममता बनर्जी अपनी नाकामियों को छिपाने के लिए बंगालियों को निशाना बनाए जाने का झूठा आरोप लगा रही हैं। तथ्य उनके झूठ से ज्यादा जोर से बोलते हैं।”

बता दें कि सोशल मीडिया पर कुछ दिनों पहले अफवाह फैली थी कि दिल्ली में बंगाली भाषी लोगों को निशाना बनाया जा रहा है। हालाँकि बाद में ये दावे फर्जी निकले। इसके बावजूद टीएमसी सांसद ने इस मुद्दे को संसद में उठाया। ये अलग बात है कि केंद्र सरकार ने सभी तथ्यों को सामने रखते हुए ऐसी किसी भी कार्रवाई की बात को खारिज कर दिया।



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