काशी से तीसरी बार सांसद बने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी शनिवार को 51वीं बार अपने संसदीय क्षेत्र वाराणसी पहुँचे। इस अवसर पर उन्होंने 2,200 करोड़ रुपए  से अधिक की 52 विकास परियोजनाओं का उद्घाटन और शिलान्यास किया।

उन्होंने प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि (PM-KISAN) योजना की 20वीं किस्त जारी कर देशभर के 9.7 करोड़ से ज्यादा किसानों को 20,500 करोड़ रुपए की सहायता राशि ट्रांसफर की।

प्रधानमंत्री मोदी ने वाराणसी में जनसभा को संबोधित करते हुए कहा कि उनकी इच्छा थी कि सावन के पवित्र महीने में बाबा विश्वनाथ की पूजा करें, लेकिन श्रद्धालुओं को असुविधा न हो, इसलिए उन्होंने वहीं मंच से भोलेनाथ और माँ गंगा को नमन किया।

उन्होंने पहलगाम की घटना को याद करते हुए कहा कि इस दर्दनाक हादसे के बाद उनका मन भारी हो गया था और उन्होंने बाबा विश्वनाथ से पीड़ितों को हिम्मत देने की प्रार्थना की। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि ‘ऑपरेशन सिंदूर के जरिए मैंने अपनी बहन-बेटियों के सिंदूर का बदला लेने का वादा पूरा किया।’

मोदी ने वाराणसी से देश को न सिर्फ आर्थिक आत्मनिर्भरता का संदेश दिया, बल्कि एक राष्ट्रीय संकल्प का स्वर भी बुलंद किया। पीएम मोदी ने संकल्प दिलाया है कि अब हर खरीद देशहित को ध्यान में रखकर हो। अब हर भारतीय नागरिक स्वदेशी को ही अपनाए। उन्होंने कहा, “भारत को अब सजग रहना होगा। कौन सी चीज खरीदनी है, इसका सिर्फ एक ही तराजू होगा- वो जिसमें भारत के किसी नागरिक का पसीना बहा हो। हम वही चीजें खरीदेंगे जो भारत में बनी हों। भारतीय कौशल से बनी हों, भारतीय हाथों से बनी हों। यही हमारे लिए असली स्वदेशी है।”

पीएम मोदी ने यह भी कहा कि आपने मोदी को काम पर लगाया है और मोदी लगातार काम कर रहा है। उन्होंने बताया कि उनकी सरकार ने 55 करोड़ से ज्यादा लोगों के बैंक खाते खुलवाए, जिनमें से कई लोगों ने पहले कभी बैंक का दरवाजा भी नहीं देखा था।

उन्होंने कहा कि 10 साल बाद खातों की केवाईसी जरूरी होती है, लेकिन सरकार ने यह सुनिश्चित किया है कि बैंक कर्मचारी कैंप लगाकर लोगों के घर तक पहुँचें, ताकि उन्हें किसी परेशानी का सामना न करना पड़े।

महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में सरकार द्वारा चलाए जा रहे ‘लखपति दीदी अभियान’ का जिक्र करते हुए पीएम मोदी ने कहा कि हमारा लक्ष्य तीन करोड़ लखपति दीदी बनाना है और अब तक 1.5 करोड़ महिलाएँ यह मुकाम हासिल कर चुकी हैं। उन्होंने चुटकी लेते हुए कहा कि ये आंकड़े सुनकर ‘सपा वाले तो साइकिल लेकर ही भाग जाएंगे।’

विकास परियोजनाओं की बात करें तो प्रधानमंत्री ने वाराणसी-भदोही मार्ग और छितौनी-शूल टंकेश्वर मार्ग के चौड़ीकरण का उद्घाटन किया। हरदत्तपुर में रेलवे ओवरब्रिज के निर्माण से मोहनसराय-अदलपुरा मार्ग पर ट्रैफिक की समस्या कम होगी। इसके अलावा दालमंडी, लहरतारा-कोटवा, गंगापुर और बाबतपुर में सड़क उन्नयन कार्यों की आधारशिला रखी गई।

बिजली व्यवस्था को मजबूत करने के लिए 880 करोड़ रुपए की परियोजनाएँ शुरू की गई हैं, जिनमें स्मार्ट वितरण प्रणाली और ओवरहेड केबलों को भूमिगत करना शामिल है। इससे शहर की बिजली आपूर्ति अधिक सुरक्षित और टिकाऊ होगी।

पर्यटन और सांस्कृतिक विरासत को बढ़ावा देने के लिए प्रधानमंत्री ने नदी किनारे के आठ कच्चे घाटों के पुनर्विकास, शिवपुर स्थित रंगीलादास कुटिया के तालाब और घाट के सौंदर्यीकरण तथा दुर्गाकुंड के जीर्णोद्धार का उद्घाटन किया।

इसके अलावा, कर्दमेश्वर महादेव मंदिर, स्वतंत्रता सेनानियों की जन्मस्थली करखियाँव और मुंशी प्रेमचंद के लमही स्थित पैतृक घर को संग्रहालय में बदलने की आधारशिला भी रखी गई।



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