आप विधायक की गिरफ्तारी के बाद संजय सिंह नजरबंद, जम्मू-कश्मीर का माहौल बिगाड़ने पहुँचे थे

आम आदमी पार्टी (AAP) जम्मू-कश्मीर में अपनी राजनीतिक जमीन तलाशने के चक्कर में घाटी की शांति को खतरे में डाल रही है। पार्टी के विधायक मेहराज मलिक को ‘पब्लिक सेफ्टी एक्ट’ (PSA) के तहत गिरफ्तार किया गया है, जिसके बाद उनके समर्थकों और सुरक्षा बलों के बीच हिंसक झड़पें हुईं।

इसके बाद, AAP सांसद संजय सिंह और दिल्ली के विधायक इमरान हुसैन ने कश्मीर में प्रदर्शन कर माहौल बिगाड़ने की कोशिश की। पुलिस ने दोनों नेताओं को श्रीनगर में नजरबंद कर दिया और इंटरनेट सेवाएँ भी बंद कर दी गई है।

मेहराज मलिक एक वीडियो में आतंकी बुरहान वानी को अपना आदर्श बताते है और कहते है कि ‘सिस्टम ठीक करने के लिए लश्कर-ए-तैयबा जैसी आतंकी संगठन जरूरी हैं।’ यह वीडियो अभी भी उनके सोशल मीडिया पर है और एजेंसियाँ इसकी जाँच कर रही हैं।

डोडा में तनाव, आप नेताओं की नजरबंदी

विधायक मेहराज मलिक की गिरफ्तारी के बाद डोडा में तनाव बढ़ गया है। मंगलवार (9 सितंबर 2025) रात हुई हिंसक झड़पों के बाद प्रशासन ने कर्फ्यू जैसे कड़े प्रतिबंध लगाए हैं। इन सब के बीच, आप सांसद संजय सिंह और इमरान हुसैन बुधवार (10 सितंबर 2025) को श्रीनगर पहुँचे, ताकि वे प्रेस कॉन्फ्रेंस कर और विरोध मार्च निकालकर इस मुद्दे को हवा दे सकें।

गुरुवार (11 सितंबर 2025) को, पुलिस ने इन दोनों नेताओं को श्रीनगर के सर्किट हाउस में ही नजरबंद कर दिया। उन्हें किसी से मिलने नहीं दिया गया। पूर्व मुख्यमंत्री फारूक अब्दुल्ला से भी मिलने से रोक दिया गया। इसके बाद, संजय सिंह ने एक वीडियो संदेश जारी कर पुलिस की कार्रवाई को ‘तानाशाही’ और लोकतंत्र पर हमला बताया।

दिल्ली के पूर्व मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने इस घटना पर तुरंत ट्वीट किया। केजरीवाल ने ‘एक्स’ पर लिखा, “पूर्व मुख्यमंत्री जो कि मौजूदा मुख्यमंत्री के पिता जी हैं, उन्हें भी संजय सिंह से उन्ही के राज्य में मिलने नहीं दिया जा रहा? ये सरासर गुंडागर्दी और तानाशाही है।”

उमर अब्दुल्ला का AAP को समर्थन

जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने AAP विधायक मेहराज मलिक के समर्थन में बयान दिया है। उन्होंने कहा कि विधायक की गिरफ्तारी से लोकतंत्र में लोगों का विश्वास कमजोर होगा। अब्दुल्ला ने हज़रतबल दरगाह विवाद का हवाला देते हुए कहा कि निर्दोषों को परेशान किया जा रहा है, जबकि धार्मिक भावनाओं से खेलने वालों पर कोई कार्रवाई नहीं हो रही है। उन्होंने सवाल उठाया, “क्या विधायक ने कोई पथराव किया था? फिर भी उन्हें PSA जैसे सख्त कानून के तहत गिरफ्तार किया गया।”

शांति भंग करने के आरोप

पुलिस सूत्रों के मुताबिक, यह कदम कश्मीर घाटी की शांति बनाए रखने के लिए उठाया गया है। पुलिस को सूचना मिली थी कि आप नेता प्रदर्शनों को और भड़काने की योजना बना रहे थे, जिससे स्थिति और खराब हो सकती थी।

डोडा में हुए ये विरोध प्रदर्शन 2019 में अनुच्छेद 370 हटाए जाने के बाद से सबसे बड़े हैं, जिसने प्रशासन की चिंता बढ़ा दी है। इस पूरे मामले से यह सवाल उठ रहा है कि क्या आप अपने राजनीतिक फायदे के लिए कश्मीर की शांति को खतरे में डाल रही है।

पुंछ के डीजीपीसी महासचिव हरचरण सिंह ने मेहराज मलिक की गिरफ्तारी का स्वागत किया। उन्होंने कहा, “मैं डोडा विधायक की गिरफ्तारी के लिए LG प्रशासन का धन्यवाद करता हूँ। वह ड्रग्स का प्रचार करते थे और एक IAS अधिकारी के साथ बदतमीजी करते थे।”



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