टैरिफ को लेकर जारी तनाव के बीच अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने अपने करीबी राजनीतिक सहयोगी सर्जियो गोर को शुक्रवार (22 अगस्त 2025) को भारत में अगला अमेरिकी राजदूत नियुक्त किया है। गोर को ट्रंप ने दक्षिण एवं मध्य एशिया के लिए अमेरिका के विशेष दूत की भी जिम्मेदारी दी है। भारत और अमेरिका के संबंधों में आई खटास के बीच यह नियुक्ति अहम मानी जा रही है।

गोर मौजूदा वक्त में व्हाइट हाउस के राष्ट्रपति कार्मिक कार्यालय के डायरेक्टर है। वह भारत में अमेरिका के पूर्व राजदूत एरिक गार्सेटी की जगह लेंगे। लंबे समय से ट्रंप के करीबी रहे गोर का विवादों से भी गहरा नाता है। टेस्ला के CEO एलन मस्क गोर को साँप तक बता चुके हैं।

ट्रंप ने क्या कहा?

डोनाल्ड ट्रंप ने अपने सोशल मीडिया प्लैटफॉर्म ट्रूथ सोशल पर एक पोस्ट के जरिए सर्जियो गोर के नाम का ऐलान किया है। ट्रंप ने लिखा, “सर्जियो गोर के नाम का ऐलान करने में मुझे खुशी हो रही है। वह शानदार दोस्त हैं जो कई वर्षों से मेरे साथ हैं।”

उन्होंने लिखा, “राष्ट्रपति कार्मिक निदेशक के रूप में, सर्जियो और उनकी टीम ने रिकॉर्ड समय में सरकार में लगभग 4,000 देशभक्तों को नियुक्त किया है। सर्जियो अपनी नियुक्ति की पुष्टि होने तक व्हाइट हाउस में अपनी वर्तमान भूमिका में बने रहेंगे।”

उन्होंने लिखा, “गोर ने मेरे ऐतिहासिक राष्ट्रपति चुनाव अभियानों में काम किया, मेरी बेस्टसेलिंग किताबें प्रकाशित कीं हैं। दुनिया के सबसे अधिक आबादी वाले क्षेत्र के लिए, यह जरूरी है कि मेरे पास कोई ऐसा व्यक्ति हो जिस पर मैं अपने एजेंडे को पूरा करने और ‘अमेरिका को फिर से महान बनाने’ में हमारी मदद करने के लिए पूरी तरह भरोसा कर सकूँ। सर्जियो एक शानदार राजदूत साबित होंगे।”

कौन हैं सर्जियो गोर?

39 वर्षीय सर्जियो गोर भारत में अमेरिका के सबसे युवा राजदूत होंगे। सर्जियो गोर का जन्म उज्बेकिस्तान की ताशकंद में हुआ था, जो उस समय सोवियत संघ के उज्बेक सोवियत समाजवादी गणराज्य का हिस्सा था। 1999 में 12 वर्ष की आयु में वह अपने माता-पिता के साथ अमेरिका आ गए थे।

गोर की स्कूली पढ़ाई लॉस एंजेलिस से हुई और उन्होंने जॉर्ज वॉशिंगटन यूनिवर्सिटी से अपना ग्रेजुएशन पूरा किया था। ग्रेजुएशन के दौरान ही राजनीति में उनकी दिलचस्पी शुरू हो गई थी। वे रिपब्लिकन पॉलिटिक्स में शामिल हुए और कई अमेरिकी सांसदों के साथ काम भी किया। 2020 में जब ट्रंप ने कैंपेन शुरू किया तो वो उनके संपर्क में आए और कैंपेन का चेहरा बन गए। गोर के पिता सोवियत आर्मी के लिए मिलिट्री एयरक्राफ्ट डिजाइन करने का काम करते थे।

गोर ने ट्रंप के बेटे डोनाल्ड ट्रंप जूनियर के साथ मिलकर एक पब्लिशिंग कंपनी की भी स्थापना की थी। गोर ने वेडिंग DJ के तौर पर भी काम किया था। 2024 में ट्रंप की जीत के बाद उन्हें व्हाइट हाउस में डायरेक्टर ऑफ प्रेसिडेंशियल पर्सनल के पद पर नियुक्त किया गया।

विवादों से रहा है गहरा नाता

गोर का विवादों से भी गहरा नाता रहा है। द न्यू यॉर्क टाइम्स ने अपनी एक रिपोर्ट में उनके बैंकग्राउंड को लेकर सवाल उठाए थे कि कैसे ट्रंप के राजनीतिक क्षेत्र में उनकी प्रसिद्धि इतनी कैसे बढ़ गई। गोर पर रूसी जासूस होने के भी आरोप लगाए थे। हालाँकि, इन आरोपों को ‘दुर्भावनापूर्ण’ बताया गया था। मस्क के साथ गोर के गंभीर मतभेद की भी कई खबरें सामने आई हैं।

मस्क ने कह दिया था ‘साँप’

रिपोर्ट्स के मुताबिक, गोर की ट्रंप और मस्क के बीच विवाद में अहम भूमिका थी। DOGE में अमेरिकी सरकार की भूमिका से इस्तीफा देने से पहले मस्क और गोर के बीच महीनों तक टकराव हुआ था। कैबिनेट बैठकों के दौरान भी दोनों के बीच टकराव की खबरें सामने आई थीं।

गोर ने NASA के प्रमुख पद के लिए जेरेड इसाकमैन के नामांकन को रोक दिया था, जिसे मस्क का समर्थन था। इस फैसले से मस्क नाराज हो गए थे। इसके अलावा, मस्क ने X पर ‘न्यूयॉर्क पोस्ट’ की एक खबर पर जवाब देते हुए गोर को ‘साँप’ कह दिया था।

न्यूयॉर्क पोस्ट की रिपोर्ट में दावा किया गया था कि गोर ने अपनी पृष्ठभूमि से संबंधित जाँच के लिए आधिकारिक दस्तावेज जमा नहीं किए थे। हालाँकि, व्हाइट हाउस ने इस दावे को खारिज कर दिया था।

नियुक्ति पर गोर ने ट्रंप को दिया धन्यवाद

सर्जियो गोर ने नई जिम्मेदारी मिलने के बाद ट्रंप का आभार जताया है। उन्होंने कहा, “राष्ट्रपति ट्रंप का आभारी हूं जिन्होंने मुझ पर भरोसा जताया है। मेरे लिए अमेरिकी लोगों की सेवा करने से ज्यादा गर्व की बात कुछ भी नहीं है।” अमेरिका के विदेश मंत्री मार्को रुबियो ने भी गोर की नियुक्ति का स्वागत किया है।



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