सेना पर आपत्तिजनक बयान मामले में राहुल गाँधी को सुप्रीम कोर्ट ने फटकारा है। इसके बाद कॉन्ग्रेस अब सुप्रीम कोर्ट के खिलाफ ही खड़ी हो गई है। कॉन्ग्रेस सांसद प्रियंका गाँधी ने न्यायपालिका को घेरने का प्रयास किया है। उन्होंने एक तरह से यह इशारा कर दिया है कि जज राहुल गाँधी पर टिप्पणी नहीं कर सकते हैं। कॉन्ग्रेस के साथ ही बाक़ी विपक्षी दल भी सुप्रीम कोर्ट के खिलाफ लामबंद हैं।
प्रियंका गाँधी ने क्या कहा?
प्रियंका गाँधी ने मंगलवार (5 अगस्त,2025) को संसद परिसर में पत्रकारों से बातचीत करते हुए कहा, “सुप्रीम कोर्ट के जजों का पूरा सम्मान रखते हुए मैं ये कहना चाहती हूँ कि वे यह तय नहीं करेंगे कि सच्चा भारतीय कौन है।”
उन्होंने आगे कहा, “विपक्ष के नेता के नाते सरकार से सवाल पूछना उनका (राहुल गाँधी) कर्तव्य है। मेरे भाई कभी भी सेना के खिलाफ नहीं बोलेंगे, वह उनके प्रति बहुत सम्मान रखते हैं। उनकी बातों का गलत मतलब निकाला गया।”
जज नहीं तय करेंगे कि एक सच्चा भारतीय कौन है
सवाल पूछना और सरकार को चुनौती देना विपक्ष के नेता का काम है, उनका कर्तव्य है
मेरे भाई सेना का बहुत सम्मान करते हैं, वह कभी सेना के ख़िलाफ़ कुछ नहीं कह सकते@priyankagandhi pic.twitter.com/qXXk78wYvK— Supriya Shrinate (@SupriyaShrinate) August 5, 2025
INDI ब्लॉक ने भी सुप्रीम कोर्ट का किया अपमान
कॉन्ग्रेस की सोशल मीडिया प्रमुख सुप्रिया श्रीनेत ने एक X पोस्ट में लिखा, “आज सुबह इंडी गठबंधन के नेताओं की बैठक में सर्वोच्च न्यायालय के एक वर्तमान न्यायाधीश द्वारा राहुल गाँधी जी पर की गई टिप्पणी पर चर्चा हुई।”
श्रीनेत ने आगे लिखा, “इंडी गठबंधन के सभी घटक दल इस बात से सहमत हैं कि वर्तमान न्यायाधीश ने एक ऐसी टिप्पणी की है जो राजनीतिक दलों के लोकतांत्रिक अधिकारों के विरुद्ध है। राष्ट्रीय हित के मुद्दों पर टिप्पणी करना राजनीतिक दलों, विशेषकर नेता प्रतिपक्ष का दायित्व है।”
आज सुबह INDIA ब्लॉक के नेताओं की बैठक में, सर्वोच्च न्यायालय के एक वर्तमान न्यायाधीश द्वारा विपक्ष के नेता @RahulGandhi जी पर की गई टिप्पणी पर चर्चा हुई
INDIA गठबंधन के सभी घटक दल इस बात से सहमत हैं कि वर्तमान न्यायाधीश ने एक ऐसी टिप्पणी की है जो राजनीतिक दलों के लोकतांत्रिक… pic.twitter.com/StXOq6xQ7Z— Supriya Shrinate (@SupriyaShrinate) August 5, 2025
वरिष्ठ कॉन्ग्रेस नेता अजय माकन ने भी सुप्रीम कोर्ट की टिप्पणी पर सवाल उठाए हैं। माकन ने एक X पोस्ट में लिखा, “राहुल गाँधी जी और कॉन्ग्रेस पार्टी लगातार चीन के मुद्दे पर सरकार से सवाल पूछ रही है, यह हमारा राष्ट्रीय कर्तव्य है… राहुल गाँधी की आवाज़ दबाने की हर कोशिश, सरकार की विफलताओं और उनके डर को उजागर करती है। ओ माई लार्ड।”
सुप्रीम कोर्ट ने क्या कहा था?
सुप्रीम कोर्ट में सोमवार (4 अगस्त) को जस्टिस दीपांकर दत्ता और जस्टिस एजी मसीह की बेंच ने राहुल गाँधी की याचिका पर सुनवाई की थी। सुप्रीम कोर्ट ने सुनवाई के दौरान राहुल गाँधी के वकील अभिषेक मनु सिंघवी से कहा था, “आपको कैसे पता चला कि चीन ने 2000 वर्ग किलोमीटर भारतीय ज़मीन पर कब्ज़ा कर लिया है? क्या आप वहाँ थे?
कोर्ट ने आगे कहा, “आपके पास कोई विश्वसनीय जानकारी है? आप बिना किसी सबूत के ये बयान क्यों दे रहे हैं…अगर आप सच्चे भारतीय होते, तो ये सब नहीं कहते।”
सिंघवी ने कोर्ट में कहा कि अगर वह प्रेस में छपी ये बातें नहीं कह सकते तो वह विपक्ष के नेता नहीं हो सकते। तो इस पर जस्टिस दत्ता ने पूछा, “आपको जो कुछ भी कहना है, संसद में क्यों नहीं कहते? आपको सोशल मीडिया पोस्ट में ऐसा क्यों कहना पड़ता है?”
क्या था मामला?
यह मामला लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गाँधी की चीन पर भारत के कब्जे और भारतीय सैनिकों के चीनी सैनिकों द्वारा ‘पीटे जाने’ की टिप्पणी से जुड़ा था। उन्होंने कहा था, “लोग भारत जोड़ो यात्रा, अशोक गहलोत और सचिन पायलट वगैरह के बारे में तो पूछेंगे ही। लेकिन चीन द्वारा 2000 वर्ग किलोमीटर भारतीय ज़मीन पर कब्ज़ा करने, 20 भारतीय सैनिकों को पीटने और अरुणाचल प्रदेश में हमारे सैनिकों की पिटाई के बारे में एक भी सवाल नहीं पूछेंगे।”
राहुल के इस बयान के बाद सीमा सड़क संगठन के एक अधिकारी ने उनके खिलाफ केस दर्ज कराया था। इलाहाबाद हाई कोर्ट ने इस मामले में केस दर्ज करने से मना कर दिया था जिसके बाद राहुल गाँधी ने सुप्रीम कोर्ट का रुख किया था
पीएम मोदी ने भी किया SC की टिप्पणी का जिक्र
रिपोर्ट्स के मुताबिक, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने एनडीए की संसदीय दल की बैठक को संबोधित करते हुए सुप्रीम कोर्ट की राहुल गाँधी पर की गई टिप्पणी की जिक्र किया है। पीएम मोदी ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट द्वारा कल लगाई गई फटकार से बड़ी कोई फटकार नहीं हो सकती है।
उन्होंने कहा, “हम क्या कहें, जब सुप्रीम कोर्ट ने ही कह दिया… ये तो पत्थर मारना ही नहीं, ये ‘आ बैल मुझे मार’ वाली स्थिति है।”